औरंगाबाद(बिहार, ब्यूरो) – महिला मोर्चा के महामंत्री उषा सिंह ने कहा कि नई सफलता, नए जोश, नई उम्मीदों और आशाओं के साथ नया साल दस्तक दे रहा है। इसी बीच हमेशा की तरह हम पुरानी यादें, वादे, अनुभव और कुछ पुराने ट्रेडिशन लेकर नए साल में कदम रखेंगे। ऐसे में अब समय है नए संकल्प लेने का। इस आगाज के साथ हम सभी नए संकल्प भी लेंगे, जिससे आने वाले साल को नए संचार के साथ जीया जा सके। नए साल में जश्न हो, हुड़दंग नहीं, नए साल के जश्न में हुड़दंग और फूहड़ता नहीं करें। नए साल का जश्न किसी परिवार के लिए दुखद न रहे, इसका ध्यान रखना चाहिए। लेकिन हमें भी परिवार और युवाओं को आगाह कराना चाहिए।
महिला मोर्चा के अध्यक्ष अनीता सिंह ने कहा कि हर व्यक्ति, हर परिवार, समाज के हर अंग ने पूरे साल कई खुशनुमा एहसास किए तो तमाम चुनौतियों का भी सामना किया। देश और हमारे राय भी इसी तरह की कई उत्साहजनक घटनाओं के हमसफर रहे तो कई विषम स्थितियां भी सामने आईं, जिन्होंने सबको दुखी और निराश किया। लेकिन इसका एक पहलू यह भी है कि भ्रष्टाचार, कानून व्यवस्था, सांप्रदायिकता, असमानता, शोषण जैसे तमाम विषयों में हम सरकारों की जिम्मेदारी मानकर पल्ला झाड़ लेते हैं। अथवा अच्छे कार्य करने वालों को बढ़ावा देने या उनके उत्साहवद्र्धन को हम अपना काम नहीं मानते। सामाजिक जिम्मेदारी को हम नागरिक धर्म मानने के लिए कमोवेश तैयार नहीं। वरना दहेज हत्या, दलित उत्पीडऩ, मॉब लिंचिंग जैसे अपराध हमारे आसपास कैसे घटित हो सकते हैं।
बहरहाल, इस साल के कैलेंडर का आखिरी दिन हम सबकी संवेदना को जागृत करें, सुखद और दुखद घटनाएं समाज के फोकस में आएं और सांकेतिक रूप से ही सही, हम सभी को कोई संदेश दे जाएं।