2 जुलाई, 2020 की रात. कानपुर का बिकरू गांव. गैंगस्टर विकास दुबे को पकड़ने गई पुलिस टीम पर हमला हुआ. आठ पुलिसवाले शहीद हो गए. इस हमले के मुख्य आरोपी विकास दुबे की 10 जुलाई की सुबह पुलिस मुठभेड़ में मौत हो गई. बेटे के एनकाउंटर पर पिता का बयान आया है.
विकास के पिता का कहना है-
हमें किसी ने बताया कि हमारा बेटा मारा गया है. हमने कहा कि ठीक किया गया. मैं उसके अंतिम संस्कार पर क्यों जाऊं. हमारा कहा वो मानता, तो आज ऐसी दशा नहीं होती. उसने हमारी कभी मदद नहीं की.
उन्होंने कहा-
जब वो जेल में था, तो कहा था कि जेल से छूटने के बाद तुम्हारी ही सेवा करेंगे. उसने सेवा भी नहीं की और दूसरा ये बवाल कर दिया. आठ सिपाहियों को मार दिया, जो जघन्य अपराध है.
एनकाउंटर पर उन्होंने कहा, “ठीक किया. जब दीवार में सर दे मारोगे, तो सर ही फूटेगा. इस बात को वो सोच नहीं सका. मुख्यमंत्री ऐसा नहीं करते, तो कल को दूसरे लोग इस प्रकार के कांड करने लगेंगे.”
पहले क्या-क्या कहा था
एनकाउंटर से कुछ दिन पहले ‘आज तक’ से बातचीत में उन्होंने कहा था कि विकास दुबे अगर अपराधी होते, तो एनकाउंटर का आदेश हो चुका होता. विकास दुबे भागा क्यों, इस सवाल के जवाब पर पिता ने कहा था कि कोर्ट का समन निकलेगा, तो हाजिर होगें. क्या आप ये जानते थे कि आपका लड़का अपराधी था? इस सवाल पर विकास के पिता ने कहा था,
“हमें तो अच्छा था. उसके काम की लोग प्रशंसा करते थे. सारे काम उसी ने क्षेत्र में पंचायत के माध्यम से कराए, तो वह क्यों बुरा होगा. उसको लोग बुरा क्यों कहते.”
तब विकास दुबे के पिता ने कहा था कि नल उसके लगवाए हुए हैं. सड़कें उसने बनवाई हैं. पंचायत घर, स्कूल, सब उसी का बनवाया हुआ है.
यह पूछने पर कि आपके लड़के ने कोई क्राइम नहीं किया? उन्होंने कहा था- नहीं. यह पूछने पर कि मां कह रही है कि एनकाउंटर कर दो. इस पर विकास दुबे के पिता ने कहा था, “मां ने जब कुछ देखा नहीं, वो यहां है नहीं और कहने को कह दिया कि एनकाउंटर कर दो. मैं बस यही कहना चाहता हूं कि जो कोर्ट से निर्णय होगा, उसका पालन करेंगे.”